कुछ दिनों पहले विदर्भ के वर्धा, गढ़चिरोली और चंद्रपुर जिलों में पूरी तरह से शराब बंदी लागू कर अपनी पीठ थपथपाने वाली महाराष्ट्र सरकार का दोहरा चेहरा सामने आया है। भाजपा शासित राज्य के गृहराज्य मंत्री राम शिंदे ने अपने हाथों अहमदनगर जिले में एक बियर बार का उद्घाटन किया। अहमदनगर वरिष्ठ समाजसेवी अन्ना हजारे का गृह जिला है और उनके गांव रालेगण सिद्धि में पूरी तरह से शराब बंदी है।

गृहराज्य मंत्री के साथ राज्य के वित्त राज्य मंत्री दीपक केसकर, विधायक सुधीर तांबे समेत कई बीजेपी नेता भी मौजूद थे। कांग्रेस ने मंत्री जी की इस हरकत पर उनसे इस्तीफे की मांग की है। साथी ही कहा है कि मुख्यमंत्री को इस मामले में जवाब देते हुए उन्हें उनके पद से हटा देना चाहिए।

मुद्दे की तलाश में बैठी कांग्रेस को एक बड़ा मुद्दा मिल गया है सरकार को घेरने का। कांग्रेस प्रवक्ता सावंत ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा,‘अब भाजपा में कोई ‘राम’ नहीं बचा है। जिसकी वजह से बियर बार का उद्घाटन करने खुद गृह राज्यमंत्री जा रहे हैं। जो दुर्दैवी है।

कांग्रेस द्वारा जहां गृह राज्यमंत्री शिंदे पर कड़ा प्रहार किया जा रहा है। वहीं भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं राजस्व मंत्री एकनाथ खडसे ने शिंदे का बचाव करते हुए कहा,”मैं लाइसेंस देने वाला मंत्री हूं। परंतु राम शिंदे ने संकेतों का पालन करते हुए उद्घाटन में जाना टाला होता, तो अच्छा होता।” हालांकि खुद शिंदे ने बियर बार का उद्घाटन करने का सही बताया है। उन्होंने कहा कि सभी नियमों की जांच करने के बाद ही मैं उद्घाटन करने गया था। राज्य सरकार ने बियर बार का लाइसेंस दिया हुआ है। इससे सरकार को राजस्व प्राप्त होगा। इसलिए उद्घाटन समारोह में जाना गैरकानूनी नहीं कहा जा सकता है। दूसरी ओर वित्त राज्यमंत्री केसरकर ने अपनी सफाई में कहा कि वे फैमिली रेस्टोरेंट के उद्घाटन में गये थे। वहां बियर बार का उद्घाटन नहीं था।