योगगुरु बाबा रामदेव ने नरेंद्र मोदी को मुस्लिमों के शत्रु के तौर पर पेश करने के लिए राजनैतिक दलों पर हमला बोला और दावा किया कि उनके नेतृत्व में बहुसंख्यक और अल्पसंख्यक दोनों समुदाय प्रगति करेंगे.रामदेव ने राजनैतिक दलों का नाम लिए बिना यहां कहा, ‘कुछ राजनैतिक दल, जो वोट बैंक के रूप में मुस्लिमों का इस्तेमाल कर रहे हैंवे मोदी को उनके शत्रु के तौर पर पेश कर समुदाय को भ्रमित करने का प्रयास कर रहे हैं. ये पार्टियां ये बात फैला रही हैं कि अगर मोदी प्रधानमंत्री बने तो मुस्लिमों को अन्याय का सामना करना पड़ेगा.’

योगगुरु ने प्रधानमंत्री पद के बीजेपी के उम्मीदवार को अपना सशर्त समर्थन दिया है. उन्होंने कहा कि मोदी में नेतृत्व के गुण हैं और उनकी मंशा देश को विकसित करने की है. उन्होंने कहा, ‘इसलिए अगर मोदी प्रधानमंत्री बने तो मुस्लिम अपने हिंदू भाइयों के साथ आगे बढ़ेंगे. जो पार्टियां मुस्लिमों को अपने वोट बैंक के तौर पर इस्तेमाल कर रही हैं वे इस बार अपने दुष्प्रचार में सफल नहीं होंगी.’

उन्होंने कहा कि मुस्लिमों को संदेह की नजर से नहीं देखा जाना चाहिए. उन्हें रोजगार, सम्मान और गरिमा के साथ जीने का अधिकार और अच्छी शिक्षा की आवश्यकता है और यह तभी हो सकता है जब भारत में यूरोप और अमेरिका से बेहतर विश्वविद्यालय हों.

रामदेव ने कहा, ‘देश में 20 करोड़ नए रोजगार पैदा करने का अवसर हैं. हालांकि, वैसा होने के लिए हमें सक्षम प्रशासन और मजबूत नेता की जरूरत है.’ रामदेव ने कहा कि वह 23 मार्च को योग महोत्सव का आयोजन करेंगे, जिसमें देशभर से 10 करोड़ से अधिक लोग भागीदारी करेंगे.

रामदेव ने बताया कि दिल्ली में उनके साथ 10 लाख से अधिक लोग योग करेंगे. उन्होंने कहा कि इस बड़े कार्यक्रम का लक्ष्य आगामी लोकसभा चुनाव के लिए मोदी और उनकी पार्टी के लिए जन समर्थन जुटाना है. रामदेव ने कहा, ‘मोदी काला धन, भ्रष्टाचार और मौजूदा व्यवस्था में बदलाव के मुद्दों पर हमसे सहमत हैं. इसलिए, हम उनका समर्थन कर रहे हैं.’

रामदेव ने केजरीवाल पर निशाना साधा
योगगुरु बाबा रामदेव ने रविवार को आम आदमी पार्टी (आप) के नेता और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा. बाबा ने आरोप लगाया कि उनकी कथनी और करनी में अंतर है.

रामदेव ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा, ‘मेरा मानना है कि लोगों को केजरीवाल से काफी अपेक्षाएं हैं कि वह कुछ अच्छा करेंगे और राजनीति में सुधार करेंगे, लेकिन लोग अब इस पार्टी को अराजक आदमी पार्टी कह रहे हैं.’

रामदेव ने कहा, ‘वह (केजरीवाल) अन्य राजनैतिक दलों पर कथनी और करनी में अंतर होने का आरोप लगाते थे. अन्य पार्टियों के स्वेच्छाचारी होने में 60 साल लगे, लेकिन ‘आप’ खुद पर नियंत्रण करने की स्थिति में नहीं लगती है. राजनैतिक बदलाव का मतलब यह नहीं है कि आप जो प्रवचन देते हैं और ‘आप’ जो करते हैं उसमें अंतर हो.

रामदेव ने कहा, ‘अगर वह (केजरीवाल) सही दिशा में बढ़ते हैं तो वह उम्मीद के रास्ते पर आगे बढ़ेंगे, जो उन्होंने देश में जगाई है, लेकिन हाल में उन्होंने जो कुछ भी किया है (दिल्ली में प्रदर्शन करना) उससे उनकी लोकप्रियता 100 फीसदी से घटकर 10 फीसदी पर आ गई है.’