नई दिल्ली। दक्षिण एशियाई पड़ोसियों को प्राथमिकता की विदेश नीति के तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अगर भूटान को अपने पहले विदेश दौरे के लिए चुना है तो उनकी विदेश मंत्री सुषमा स्वराज मुल्क से बाहर पहले दौरे पर बांग्लादेश जाएंगी। सुषमा जून के आखिरी सप्ताह में यह दौरा करेंगी।

सूत्रों के अनुसार सुषमा की पहली विदेश यात्रा के लिए 26-27 जून की तारीखों पर विचार चल रहा है। भारतीय विदेश मंत्री के इस प्रस्तावित दौरे में दोनों देशों के बीच उलझे तीस्ता जल बंटवारा विवाद और सीमांकन समझौते जैसे पेचीदा मुद्दों को अमली जामा पहनाने का रास्ता निकल सकेगा।

संप्रग सरकार के कार्यकाल में दोनों देशों के बीच सीमा विवाद समाधान के लिए रजामंदी बन चुकी थी। आम चुनाव से पहले सरकार ने संसद में इसे पारित कराने का प्रयास भी किया था, लेकिन उसे कामयाबी नहीं मिल पाई। विपक्ष में रहते हुए भाजपा ने भी इसका विरोध किया था।

मोदी ने सत्ता संभालने से पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि पड़ोसी मुल्क उनकी वरीयता में आगे हैं। इस कड़ी में पीएम भी भारत के साथ सबसे दोस्ताना संबंधों वाले पड़ोसी देश भूटान जा रहे हैं। अभी हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि पीएम के भूटान दौरे में विदेश मंत्री उनके साथ होंगी या नहीं।