कश्मीर में आतंकी ढेर, ढाल बने तीन पत्थरबाज भी मारे गए; 63 जवान जख्मी
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। कश्मीर में चुनावी माहौल बिगाड़ने की कोशिशें जारी हैं। अलगाववादियों और आतंकियों की चुनाव बहिष्कार की धमकियों के बीच मंगलवार को चाडूरा (बड़गाम) में लगभग नौ घंटे चली मुठभेड़ में हिजबुल मुजाहिदीन का दुर्दांत आतंकी तौसीफ अहमद मारा गया, जबकि एक सैन्यकर्मी घायल हो गया। इस दौरान आतंकियों को बचाने के लिए पथराव कर रही भीड़ और सुरक्षाबलों के बीच हुई हिंसक झड़पों में तीन प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई। 63 सुरक्षाकर्मियों समेत 100 लोग घायल हैं।
प्रशासन ने कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए चाडूरा व उसके साथ सटे इलाकों में सुरक्षा के कड़े प्रबंध कर दिए हैं। बड़गाम श्रीनगर संसदीय क्षेत्र का हिस्सा है और यहां नौ अप्रैल को मतदान होना है। वहीं, अनंतनाग उपचुनाव के लिए 12 अप्रैल को वोट डाले जाने हैं। मुठभेड़ सुबह करीब छह बजे शुरू हुई।
पुलिस, सेना व सीआरपीएफ के एक संयुक्त कार्यदल ने चाडूरा के जुईन गांव (दुरबुग) में आतंकियों के छिपे होने की सूचना पर तलाशी अभियान चलाया। एक मकान में छिपे आतंकी ने जवानों को देखते ही गोली चला दी। जवानों ने भी जवाबी फायर किया। इसके बाद वहां मुठभेड़ शुरू हो गई। गोलीबारी का जवाब देते हुए जवानों ने कई बार आतंकी को आत्मसमर्पण के लिए भी कहा, लेकिन उसने फायरिंग जारी रखी। दोपहर करीब सवा तीन बजे आतंकी ठिकाना बना मकान एक जोरदार धमाके के साथ तबाह हो गया।
इस दौरान अंदर छिपे आतंकी ने सुरक्षाबलों पर अंधाधुंध गोलियां चलाते हुए भागने का प्रयास किया, लेकिन जवाबी कार्रवाई में मारा गया। इस दौरान एक जवान भी जख्मी हुआ। इससे पूर्व मुठभेड़ शुरू होने की ख़बर फैलते ही आसपास के इलाकों से बड़ी संख्या में युवक भड़काऊ नारेबाजी करते हुए मुठभेड़ स्थल पर पहुंचने लगे। इन युवकों ने सुरक्षाबलों पर भी पथराव किया।
भीड़ में शामिल कुछ युवकों ने जब सुरक्षाकर्मियों के साथ मारपीट का प्रयास करते हुए उनके हथियार छीनने का तथाकथित प्रयास किया। सुरक्षाकर्मियों को भीड़ पर काबू पाने के लिए गोली भी चलानी पड़ी। इस दौरान जाहिद रशीद गनई, आमिर वाजा उर्फ साकिब और इशफाक गोली लगने से जख्मी हो गए। तीनों को अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्होंने दम तोड़ दिया।
मुख्यमंत्री ने बड़गाम मुठभेड़ में दो युवकों की मौत पर जताया दुख
मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने मंगलवार को बड़गाम में मुठभेड़ के दौरान तीन युवकों की मौत पर गहरा दुख जताते हुए आतंकियों को हथियार छोड़ मुख्यधारा में शामिल होने को कहा। उन्होंने कहा कि आम लोगों को खुद सोचना होगा कि यह हिंसा सिर्फ तबाही ही ला सकती है, इससे ज्यादा कुछ नहीं। हिंसा से कुछ हासिल नहीं होगा। बातचीत और अमन से ही सभी मसले हल होंगे।